
मौकापरस्त हो चुकी हैं आंखे
तलाश रहती है इन्हें...
नए-नए कुछ तमाशों की,
तड़पते-छटपटाते किसी हादसे में...
दम तोड़ती आवाजों की,
भटकती हैं यहां वहां...
सिसकती हुई भावनाओं के पीछे
एक नई खबर के लिए
दूर तक दौड़ती हैं रास्तों पर...
जबरन किसी मुद्दे के पीछे
ताकती हैं आसमान को भी...
खुद को भिगोने की ख्वाहिश में
ढूंढती हैं आसपास ही कहीं...
बेबस किस्सों के निशान
फिर नई कहानी के लिए
गमज़दा हो तो झुक जाती हैं...
एक रस्म निभाने को, क्योंकि...
मौकापरस्त हो चुकी हैं आंखे
तलाश रहती है इन्हें...
नए-नए कुछ तमाशों की,
तड़पते-छटपटाते किसी हादसे में...
दम तोड़ती आवाजों की,
भटकती हैं यहां वहां...
सिसकती हुई भावनाओं के पीछे
एक नई खबर के लिए
दूर तक दौड़ती हैं रास्तों पर...
जबरन किसी मुद्दे के पीछे
ताकती हैं आसमान को भी...
खुद को भिगोने की ख्वाहिश में
ढूंढती हैं आसपास ही कहीं...
बेबस किस्सों के निशान
फिर नई कहानी के लिए
गमज़दा हो तो झुक जाती हैं...
एक रस्म निभाने को, क्योंकि...
मौकापरस्त हो चुकी हैं आंखे